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हैहयवंश निर्माण की सार्थकता

हैहयवंश निर्माण की सार्थकता मित्रों, आज आज़ादी के बाद इतने वर्षों में हम हैहयवंशियो को अपनी समाज की एकता और संगठन बनाने के लिए निरंतर ही संघर्ष करना पड रहा है| इसी कड़ी में मेरे द्वारा भी अपने स्तर से लेखनी और कुछ सामाजिक कार्यकर्मो के माध्यम से कुछ ना कुछ प्रयास लगातार किया जाता रहा है, हमें इस कार्य में कुछ फलीभूत सफलता भी मिली है जिसमे मेरे द्वारा अंतरास्ट्रीय स्तर पर इलेक्ट्रोनिक इन्टरनेट के माध्यम से पढ़े और आम लोगो तक पहुचने वाले साहित्यों, इतिहास और कथाओ में अपने इतिहास जीवनी और कथाओ को भारत डिस्कवरी के वेबसाइट पर पहचान बनाया है कुछ रोचक प्रसिद्ध सांस्कृतिक और आध्यात्मिक वेबसाइट पर भी हमाँरे समाज के जीवनी, कथाओ, चालीसा और आरती को संकलित किया गया है जिसके माध्यम से ना सिर्फ अपने समाज के लोग बल्कि अन्य समाज के लोग हमें जान और पहचान रहे है और हमारे समाज के बारे में जान रहे है हमारे पास उनके कमेन्ट और सुचना लगातार आती रहती है यह एक अत्यंत ही बड़े हर्ष की विषय है इस कार्य में हम समाज के लोग और भी आगे ले जा सकते है यदि इस वेबसाइट को अधिक से अधिक अपने समाज के लोगो द्वारा प्रचारित औ